नई दिल्ली, 7 मई 2025 – भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत आतंकवाद के खिलाफ बड़ा कदम उठाते हुए पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में स्थित लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद के 9 आतंकी ठिकानों पर एयर स्ट्राइक कर उन्हें पूरी तरह तबाह कर दिया। यह कार्रवाई पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में की गई है, जिसमें 26 नागरिकों की जान गई थी।
सटीक हमला, नौ ठिकाने तबाह
भारतीय सेना ने यह ऑपरेशन थल, जल और वायुसेना की संयुक्त रणनीति के तहत अंजाम दिया। निशाना बने ठिकानों में बहावलपुर, मुरीदके, गुलपुर, भीमबर, चक अमरू, बाग, कोटली, सियालकोट और मुजफ्फराबाद शामिल हैं। खुफिया सूत्रों के मुताबिक, इन ठिकानों पर हाफिज सईद और मसूद अजहर जैसे आतंकी नेताओं की गतिविधियां केंद्रित थीं।
पाकिस्तान का जवाब और दावे
पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट जनरल अहमद शरीफ चौधरी ने भारत पर 6 जगहों पर 24 हमले करने का आरोप लगाया, जिनमें 8 लोगों की मौत और 33 घायल होने की बात कही गई। पाकिस्तान ने इसे “कायराना हमला” बताया और कराची, लाहौर जैसे प्रमुख शहरों का हवाई क्षेत्र बंद कर दिया। पंजाब प्रांत में स्कूल और कॉलेज भी बंद कर दिए गए हैं।
पाकिस्तानी मीडिया ने दावा किया कि उसने भारत के दो जेट और एक ड्रोन मार गिराया, जिसे भारतीय रक्षा मंत्रालय ने खारिज कर दिया है।
LoC पर तनाव, 3 भारतीय नागरिकों की मौत
ऑपरेशन के बाद पाकिस्तानी सेना ने पुंछ और राजौरी में गोलीबारी शुरू कर दी, जिसमें 3 भारतीय नागरिकों की मौत हो गई। इसके जवाब में भारत ने पाक का एक JF-17 फाइटर जेट मार गिराया।
हवाई यातायात प्रभावित, कई उड़ानें रद्द
तनावपूर्ण स्थिति के कारण एयर इंडिया, इंडिगो समेत कई एयरलाइनों ने दोपहर 12 बजे तक जम्मू, श्रीनगर, लेह, जोधपुर, अमृतसर, भुज, जामनगर, चंडीगढ़ और राजकोट से आने-जाने वाली सभी उड़ानें रद्द कर दी हैं। श्रीनगर एयरपोर्ट को पूरी तरह बंद कर दिया गया है। यात्रियों से अपील की गई है कि यात्रा से पहले एयरलाइन की एडवाइजरी जरूर जांचें। अमृतसर जा रही दो अंतरराष्ट्रीय उड़ानों को दिल्ली डायवर्ट किया गया।
क्या यह सिर्फ शुरुआत है?
भारत सरकार ने अमेरिका, ब्रिटेन, रूस समेत वैश्विक ताकतों को ऑपरेशन की जानकारी दी है। रक्षा मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि यह हमला केवल आतंकी शिविरों पर केंद्रित था, किसी पाकिस्तानी सैन्य ठिकाने को नुकसान नहीं पहुंचाया गया।
सूत्रों की मानें तो यह सिर्फ शुरुआत है, और आने वाले समय में भारत और भी कड़े और गहरे प्रहार करने की रणनीति पर काम कर सकता है। देशभर में पहलगाम हमले के बाद बदले की मांग तेज थी, जिसकी अब एक निर्णायक शुरुआत हो चुकी है।