ब्राह्मण वोट बैंक को देखते हुए भाजपा ने जताया भरोसा, कार्यकर्ताओं में जोश
भागलपुर, 17 अक्टूबर 2025: भागलपुर भाजपा ने भागलपुर विधानसभा के लिए एक बार फिर से रोहित पांडे पर भरोसा जताया है। 2020 में रोहित पांडे भाजपा के प्रत्याशी थे, लेकिन कांग्रेस प्रत्याशी अजीत शर्मा से तकरीबन साढ़े 900 मतों के अंतर से हार का सामना करना पड़ा था।
भाजपा ने इस बार अनुभव और ब्राह्मण वोट बैंक को ध्यान में रखते हुए रोहित पांडे को फिर से उम्मीदवार बनाया। भाजपा कार्यकर्ताओं ने उनका जोशपूर्ण स्वागत किया।
रोहित पांडे का संदेश
रोहित पांडे ने कहा, “पार्टी ने जो जिम्मेदारी दी है, उस पर खड़ा उतरेंगे। पिछली बार कहीं न कहीं चूक हुई थी, लेकिन इस बार अनुभव और एकजुटता है। जनता भी इस बार भरोसा करेगी। भागलपुर में विकास और जनता की उम्मीदों पर पूरा ध्यान रहेगा।”
भाजपा के अंदर हाल ही में सामने आई कलह की बात पर उन्होंने कहा, “कुछ ऐसी बात नहीं है, सभी हमारे साथ हैं। अगर कोई विवाद होता है, तो बैठकर मिलकर सुलझा लिया जाएगा। सभी हमारे लिए और भागलपुर के लिए मजबूती से खड़े हैं।”
चुनाव की हलचल और उम्मीदवारों की स्थिति
भाजपा में उम्मीदवार के एलान के बाद बगावत के सुर भी सुने गए। अर्जित शाश्वत चौबे ने नामांकन के लिए नाजिर रशीद कटवाया। उधर, भाजपा नेत्री प्रीति शेखर, मनीष दास और प्रशांत विक्रम ने भी निर्दलीय चुनाव लड़ने का एलान किया था हालांकि वे अब चुनावी मैदान में नहीं है।
ज्ञात हो कि रोहित पांडे कनौजिया ब्राह्मण जाति से आते हैं, और भागलपुर विधानसभा में ब्राह्मणों की संख्या लगभग 35-40 हजार है। भाजपा पहले भी ब्राह्मण चेहरे को टिकट देती रही है, जैसे 2015 में अर्जित चौबे और इससे पहले अश्विनी चौबे भी विधायक रह चुके हैं।
अब भागलपुर विधानसभा एक बार फिर हॉट सीट बन चुकी है। लोगों की निगाहें इस बात पर हैं कि क्या रोहित पांडे पर भागलपुर की जनता इस बार भरोसा जताएगी।