अभियंता दिवस पर मेधावी छात्र प्रोत्साहन पुरस्कार 2025 समारोह में की गई बड़ी घोषणा
पटना, 16 सितंबर 2025।विज्ञान, प्रौद्योगिकी एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री सुमित कुमार सिंह ने अभियंता दिवस के अवसर पर राज्यभर के इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक कॉलेजों के टॉपर छात्रों को बड़ी सौगात देने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि अगले वर्ष से राज्य स्तर पर शीर्ष तीन स्थान प्राप्त करने वाले छात्रों को नकद पुरस्कार के बजाय लैपटॉप दिया जाएगा।
वर्तमान व्यवस्था और नई योजना
- अभी तक मेधावी छात्र प्रोत्साहन पुरस्कार के तहत टॉपर छात्रों को 5,000, 4,000 और 3,000 रुपये नकद राशि, प्रमाण पत्र और मेडल दिया जाता है।
- अब यह पुरस्कार लैपटॉप के रूप में दिया जाएगा।
- मंत्री ने कहा कि पुरस्कार को केवल पांच विषयों तक सीमित नहीं रखना चाहिए, बल्कि सभी विषयों में टॉपर छात्रों को शामिल किया जाएगा।
छात्रों और शिक्षकों के लिए प्रोत्साहन
मंत्री सुमित कुमार सिंह ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा:
- “लैपटॉप मिलने से छात्रों में स्वस्थ प्रतिस्पर्धा का विकास होगा।”
- “इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक कॉलेजों में उत्कृष्ट कार्य करने वाले शिक्षकों को भी सम्मानित किया जाएगा।”
- छात्रों को उन्होंने विदेशी भाषा सीखने के लिए प्रेरित किया, ताकि उनके करियर को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर और बेहतर अवसर मिल सकें।
इंटर्नशिप पर मिलेगा प्रोत्साहन
विभागीय सचिव डॉ. प्रतिमा ने बताया:
- “अब सातवें और आठवें सेमेस्टर के छात्र राज्य की सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों में इंटर्नशिप कर सकेंगे।”
- इसके लिए विभाग ने ऑनलाइन पोर्टल तैयार कर लिया है।
- सफलतापूर्वक इंटर्नशिप पूरी करने पर छात्रों को ₹10,000 का प्रोत्साहन दिया जाएगा।
मुख्यमंत्री की तकनीकी शिक्षा पर दृष्टि
सचिव ने कहा कि मुख्यमंत्री की पहल पर:
- हर जिले में एक इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक कॉलेज खोले गए।
- उद्योगों की ज़रूरतों के अनुसार नए पाठ्यक्रम तैयार किए जा रहे हैं।
- राज्य के इंजीनियरिंग कॉलेजों के लिए एनबीए मान्यता और एनआईआरएफ रैंकिंग हासिल करने की दिशा में प्रयास जारी है।
समारोह का आयोजन
- यह कार्यक्रम तारामंडल परिसर, पटना में आयोजित किया गया।
- इस मौके पर विभागीय त्रैमासिक पत्रिका का विमोचन मंत्री सुमित कुमार सिंह और सचिव डॉ. प्रतिमा ने संयुक्त रूप से किया।
- भारत रत्न डॉ. मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया की जयंती पर आयोजित इस समारोह में मेधावी छात्रों और उनके अभिभावकों ने भाग लिया।
यह योजना बिहार के युवाओं के लिए तकनीकी शिक्षा को और आकर्षक एवं प्रतिस्पर्धी बनाने की दिशा में बड़ा कदम मानी जा रही है।


