• आर्थिक अपराध इकाई की कार्रवाई में 4 सिम बॉक्स बरामद, अंतरराष्ट्रीय कॉल को लोकल में बदलने का धंधा बेनकाब
• आरोपी मुकेश कुमार गिरफ्तार, कंबोडिया-थाईलैंड से कॉल के जरिए साइबर फ्रॉड की हो रही थी साजिश
पटना/भोजपुर : बिहार में साइबर अपराध से जुड़ा एक और गंभीर मामला सामने आया है। भोजपुर जिले के नारायणपुर गांव में आर्थिक अपराध इकाई (EOU) की टीम ने सिम बॉक्स रैकेट का पर्दाफाश करते हुए 4 सिम बॉक्स बरामद किए हैं। इस कार्रवाई में मुख्य आरोपी मुकेश कुमार को गिरफ्तार किया गया है।
मोतिहारी केस से मिला लिंक, भोजपुर में हुई छापेमारी
इस कार्रवाई से पहले मोतिहारी में सिम बॉक्स मामले में एक शातिर अपराधी हर्षित को गिरफ्तार किया गया था। जांच के दौरान भोजपुर से लिंक मिलने के बाद डीएसपी पंकज कुमार के नेतृत्व में गठित SIT टीम ने बुधवार देर शाम छापेमारी कर यह कार्रवाई की।
सिम बॉक्स से चल रहा था समानांतर टेलीफोन एक्सचेंज
EOU की जांच में खुलासा हुआ है कि भोजपुर में पकड़ा गया गिरोह सिम बॉक्स तकनीक का इस्तेमाल करके अंतरराष्ट्रीय कॉल को लोकल कॉल में बदलता था।
इससे:
- सरकारी राजस्व को भारी नुकसान
- फर्जी कॉल के जरिए ठगी
- साइबर फ्रॉड गैंगों को लोकल सपोर्ट
जांच में सामने आया कि कंबोडिया, थाईलैंड जैसे देशों से आने वाली हजारों कॉल को लोकल में कन्वर्ट कर भारत में ठगी की जाती थी। सिम बॉक्स का उपयोग करके कॉल की ट्रेसबिलिटी लगभग खत्म हो जाती है, जिससे साइबर अपराधियों को फायदा होता है।
बायोमेट्रिक डेटा की भी हो रही थी धांधली
इस केस में कॉमन सर्विस सेंटर (CSC) संचालक, सिम डिस्ट्रीब्यूटर, टेलीकॉम रिटेलर भी जांच के दायरे में हैं।
आरोप है कि:
- आम लोगों के आधार नंबर का गलत इस्तेमाल कर फर्जी तरीके से सिम कार्ड जारी किए गए।
- बायोमेट्रिक डेटा का दुरुपयोग कर सैकड़ों फर्जी सिम बॉक्स में लगाए गए।
- टेलीकॉम सेवा प्रदाता कंपनियों के डिस्ट्रीब्यूटर और रिटेलर की मिलीभगत की आशंका है।
देशभर में लिंक, राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड पोर्टल पर भी संदिग्ध
इस गिरोह के तार केवल बिहार तक सीमित नहीं हैं। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड पोर्टल (NCRP) पर दर्ज मामलों में इस नेटवर्क की संलिप्तता सामने आई है।
अन्य राज्यों से भी इनपुट मिले हैं, जहां समान पैटर्न पर साइबर फ्रॉड ऑपरेट किए गए।
अब तक की कार्रवाई
- भोजपुर के नारायणपुर से 4 सिम बॉक्स जब्त
- आरोपी मुकेश कुमार गिरफ्तार
- मोतिहारी केस से लिंक के बाद छापेमारी
- हजारों इंटरनेशनल कॉल का लोकल कॉल में रूपांतरण
- EOU और टेलीकॉम मंत्रालय की संयुक्त जांच जारी
सिम बॉक्स रैकेट का पर्दाफाश राज्य के साइबर सुरक्षा ढांचे के लिए एक बड़ी चुनौती को उजागर करता है।
अब तक की जांच में सामने आया है कि साइबर ठग इंटरनेशनल नेटवर्क से जुड़े हैं और वे स्थानीय स्तर पर तकनीकी और दस्तावेजी सहयोग से बड़े फ्रॉड को अंजाम दे रहे हैं।
आर्थिक अपराध इकाई ने कहा है कि अगले कुछ दिनों में और गिरफ्तारियां हो सकती हैं, साथ ही कई टेलीकॉम एजेंसियों की भूमिका की भी जांच की जा रही है।






