पटना, शुक्रवार: शुक्रवार की शाम पटना एयरपोर्ट राजनीतिक चर्चाओं का केंद्र बन गया, जब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बेटे निशांत कुमार और जेडीयू के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष व राज्यसभा सांसद संजय झा को एक साथ देखा गया। दोनों की उपस्थिति ने अचानक राजनीतिक तापमान बढ़ा दिया और निशांत की संभावित राजनीतिक पारी को लेकर नए सवाल खड़े हो गए।
एयरपोर्ट पर मीडिया से संक्षिप्त बातचीत में निशांत कुमार ने बिहार की जनता के प्रति आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि पिछले दो दशकों में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राज्य के विकास की नई पहचान बनाई है। निशांत ने भरोसा जताया कि “राज्य सरकार आने वाले वर्षों में 1 करोड़ रोजगार उपलब्ध कराने के लक्ष्य को पूरा करेगी।”
संजय झा का बड़ा बयान: “निशांत जी को पार्टी में सक्रिय देखना सभी की इच्छा”
निशांत के साथ मौजूद जेडीयू के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष संजय झा ने इस मौके पर एक महत्वपूर्ण राजनीतिक संकेत देते हुए कहा कि पार्टी के नेता, कार्यकर्ता और समर्थक सभी चाहते हैं कि निशांत कुमार सक्रिय राजनीति में आएं।
उन्होंने कहा:
“निशांत जी को पार्टी में आकर काम करते देखना सभी की इच्छा है। अब निर्णय उनका है।”
संजय झा का यह बयान खुले मंच पर आया है, जिससे यह साफ माना जा रहा है कि जेडीयू नेतृत्व, खासकर पार्टी का कोर ग्रुप, निशांत के माध्यम से नई पीढ़ी को राजनीति में लाना चाहता है। यह बयान राजनीतिक गलियारों में हलचल पैदा करने के लिए पर्याप्त है।
नीतीश कुमार की छवि परिवारवाद विरोधी रही है
दिलचस्प बात यह है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने पूरे राजनीतिक करियर में परिवारवाद से दूरी बनाए रखी है।
- 20 वर्षों से अधिक सत्ता में रहने के बावजूद
- उनका कोई भी परिवार सदस्य आज तक राजनीति में सक्रिय नहीं हुआ
इसके उलट बिहार की दूसरी सबसे बड़ी पार्टी राजद (RJD) में परिवार की मजबूत पकड़ रही है—
- राबड़ी देवी दो बार मुख्यमंत्री
- तेजस्वी यादव और तेज प्रताप मंत्री
- मीसा भारती सांसद
- रोहिणी आचार्य लोकसभा उम्मीदवार
ऐसे में निशांत की संभावित राजनीतिक भूमिका नीतीश कुमार की परंपरागत छवि में एक अहम बदलाव ला सकती है।
जेडीयू 6 दिसंबर से शुरू कर रही है बड़ा सदस्यता अभियान
इसी बीच जेडीयू पूरे राज्य में 6 दिसंबर से नया सदस्यता अभियान शुरू कर रही है।
- लक्ष्य: 1 करोड़ नए सदस्य जोड़ने का
- मुख्यमंत्री नीतीश कुमार स्वयं इस लॉन्चिंग कार्यक्रम में भाग ले सकते हैं
ऐसे समय में निशांत की बढ़ती सक्रियता को इस अभियान से भी जोड़कर देखा जा रहा है।
क्या JDU में नई ऊर्जा का संचार करेगी निशांत की एंट्री?
विधानसभा चुनाव में बड़ी जीत के बाद जेडीयू पहले से ही उत्साहित है। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि अगर निशांत कुमार सक्रिय राजनीति में आते हैं, तो यह पार्टी के लिए नई पीढ़ी को आकर्षित करने का अवसर बन सकता है।
उनकी सादगीपूर्ण व कम सार्वजनिक उपस्थिति वाले व्यक्तित्व को भी पार्टी के लिए एक सकारात्मक तत्व माना जा रहा है।
हालांकि निशांत ने अब तक आधिकारिक रूप से राजनीति में आने की पुष्टि नहीं की है, लेकिन संजय झा के बयान ने साफ कर दिया है कि जेडीयू उनके आने के लिए पूरी तरह तैयार है। आने वाले दिनों में यह मुद्दा बिहार की राजनीति का बड़ा केंद्र बन सकता है।


