पटना — NEET UG 2024 पेपर लीक मामले में केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) की जांच ने अब एक नया मोड़ ले लिया है। मुख्य आरोपी संजीव मुखिया से पूछताछ के दौरान कई सनसनीखेज जानकारियां सामने आई हैं, जिनमें एक DIG रैंक के पुलिस अधिकारी के रिश्तेदार की संलिप्तता भी उजागर हुई है।
संजीव मुखिया का कबूलनामा
CBI को दिए गए बयान में संजीव ने स्वीकार किया कि परीक्षा के दिन वह गुजरात के गोधरा में मौजूद था और जिस जय जलाराम स्कूल से पेपर लीक हुआ, वह मात्र 1.5 किलोमीटर की दूरी पर था। पूछताछ में यह भी खुलासा हुआ कि पेपर लीक की साजिश में एक शक्तिशाली पुलिस अधिकारी के रिश्तेदार ने उम्मीदवारों और उनके परिजनों से सीधे संपर्क कर डील को अंजाम दिया।
एजुकेशन कंसल्टेंसी के जरिये होती थी डीलिंग
CBI की जांच में सामने आया है कि यह नेटवर्क उम्मीदवारों को वडोदरा की एक एजुकेशन कंसल्टेंसी से जोड़ता था, जहां पेपर की कीमत तय की जाती थी और लाखों में सौदे होते थे। सौदे फाइनल होने पर दलालों और बिचौलियों को मोटा कमीशन दिया जाता था।
बिहार कनेक्शन: विभोर आनंद की भूमिका
CBI ने बिहार के लखीसराय निवासी विभोर आनंद को भी इस मामले में मुख्य साजिशकर्ता बताया है। वह न सिर्फ DIG का रिश्तेदार है बल्कि संजीव मुखिया और अन्य दलालों के साथ मिलकर पेपर डीलिंग में अहम भूमिका निभा रहा था। उसे दरभंगा से गिरफ्तार किया गया था।
गुजरात से पंजाब तक फैला नेटवर्क
CBI के सूत्रों के अनुसार, संजीव मुखिया का नेटवर्क केवल गुजरात तक सीमित नहीं है। उसका संपर्क बिहार, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा और पंजाब तक फैला हुआ है। जांच एजेंसी ने उसे चार दिन की रिमांड पर लेकर अहमदाबाद में पूछताछ की।
अब तक गिरफ्तार लोग
- पुरुषोत्तम शर्मा – जय जलाराम स्कूल के प्रिंसिपल
- तुषार भट्ट – स्कूल टीचर
- परशुराम राय – एजुकेशन कंसल्टेंट और वीजा एजेंट
- आरिफ वोहरा – डील फिक्स करने वाला दलाल
- विभोर आनंद – मुख्य आरोपी और DIG का रिश्तेदार
क्या आगे और गिरफ्तारियां होंगी?
CBI रिमांड पूरी होने के बाद एजेंसी एक विस्तृत रिपोर्ट सौंपेगी। सूत्रों का मानना है कि आने वाले दिनों में और भी प्रभावशाली नाम सामने आ सकते हैं और गिरफ्तारी की सूची लंबी हो सकती है।