बिहार के सरकारी स्कूलों में व्यवस्थाओं को दुरुस्त करने के लिए शिक्षा विभाग लगातार प्रयास कर रहा है, लेकिन जमीनी स्तर पर लापरवाही और अनियमितता की खबरें थम नहीं रही हैं। ताज़ा मामला मिड-डे मील (MDM) योजना के लिए दिए गए व्यावसायिक गैस सिलेंडरों का है, जो पिछले दो वर्षों से बिना उपयोग के स्कूलों में पड़े हुए हैं। इन सिलेंडरों की कुल कीमत लगभग 11.80 करोड़ रुपये बताई जा रही है।
45,860 सिलेंडर अभी तक वापस नहीं; 22,838 स्कूलों पर आरोप
जानकारी के अनुसार, स्कूलों को 19 किलो वाला सिक्योरिटी-फ्री कमर्शियल एलपीजी सिलेंडर दिया गया था। नियम था कि घरेलू गैस कनेक्शन मिलने के बाद स्कूल इन सिलेंडरों को तेल कंपनियों को वापस करेंगे।
लेकिन—
- 22,838 स्कूलों ने अब तक 45,860 सिलेंडर वापस नहीं किए हैं।
जिलेवार स्थिति बेहद चौंकाने वाली है—
- मुजफ्फरपुर डिवीजन: 18,494 सिलेंडर
- पटना डिवीजन: 16,899 सिलेंडर
- बेगूसराय: 10,067 सिलेंडर
इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (IOCL) ने सभी जिलों की सूची जारी करते हुए मध्याह्न भोजन निदेशालय से तुरंत इन सिलेंडरों की वापसी सुनिश्चित करने की मांग की है।
2014–15 में मिले थे सिलेंडर, 2023 में मिले घरेलू कनेक्शन
मिड-डे मील योजना के तहत एलपीजी उपयोग की स्वीकृति 2014–15 में दी गई थी।
इसके बाद—
- IOC और अन्य कंपनियों ने स्कूलों को सिक्योरिटी-फ्री कमर्शियल सिलेंडर दिए।
- 20 अक्टूबर 2023 को स्कूलों को घरेलू गैस कनेक्शन जारी कर दिया गया।
इसके बाद व्यावसायिक सिलेंडर अनुपयोगी हो गए, लेकिन स्कूलों ने इन्हें संबंधित एजेंसी को लौटाना जरूरी नहीं समझा।
निदेशक ने जिलों को कड़े निर्देश दिए
MDM निदेशक विनायक मिश्र ने सभी जिलों के DPO (MDM) को निर्देश दिया है कि—
- सिलेंडर तत्काल एजेंसी को लौटाए जाएं।
- प्रगति रिपोर्ट नियमित रूप से मुख्यालय भेजी जाए।
- जिलों में DPO स्वयं मॉनिटरिंग करें।
विभाग ने इसे गंभीर लापरवाही मानते हुए कड़ी चेतावनी दी है।
जिलेवार कितने सिलेंडर लौटाने बाकी?
कुछ प्रमुख जिलों में स्थिति इस प्रकार है:
- पटना – 1,829
- मुजफ्फरपुर – 4,358
- भागलपुर – 777
- गया – 276
- दरभंगा – 2,120
- अररिया – 723
- बेगूसराय – 2,387
- कटिहार – 1,332
- मधुबनी – 2,324
- समस्तीपुर – 3,097
- सीतामढ़ी – 2,244
- रोहतास – 3,524
- पश्चिम चंपारण – 1,732
- गोपालगंज – 1,997
- सीवान – 1,781
कई जिलों में स्कूलों की संख्या अपेक्षाकृत कम है, फिर भी सैकड़ों सिलेंडर वापस नहीं किए गए हैं।
IOCL कई बार पत्र भेज चुका, लेकिन कार्रवाई नगण्य
IOCL ने बार-बार पत्र भेजकर स्कूलों और जिलों को गैस सिलेंडर वापस करने का अनुरोध किया है, लेकिन अधिकांश स्कूलों में कोई कार्रवाई नहीं की गई।
यह स्थिति विभागीय निगरानी की कमजोरी और स्कूल प्रबंधन की लापरवाही दोनों को उजागर करती है।
विभाग सतर्क—सिलेंडर लौटाने की अंतिम चेतावनी जारी
शिक्षा विभाग ने सभी जिलों को स्पष्ट कर दिया है कि:
- जल्द से जल्द सभी सिलेंडर लौटाए जाएं
- अधिकारी कार्रवाई में देरी न करें
- रिपोर्टिंग में लापरवाही बर्दाश्त नहीं होगी
मामला राज्य के हजारों सिलेंडरों और करोड़ों रुपये की सार्वजनिक संपत्ति से जुड़ा है, ऐसे में विभाग इसे प्राथमिकता के साथ निपटाना चाहता है।


