वैशाली | ब्यूरो रिपोर्ट
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में वैशाली जिले की आठों सीटों पर एनडीए और इंडिया गठबंधन (महागठबंधन) के बीच सीधी और कांटे की टक्कर देखने को मिल रही है। एग्जिट पोल के शुरुआती रुझानों और स्थानीय राजनीतिक विश्लेषकों के मुताबिक, यहां मुकाबला इतना नजदीकी है कि अंतिम परिणाम तक तस्वीर साफ नहीं हो पाएगी। दो सीटों पर सस्पेंस बरकरार है, जबकि बाकी सीटों पर मामूली बढ़त-बढ़त का खेल चल रहा है।
🔹 एग्जिट पोल बोले – बराबरी की टक्कर
राजनीतिक विशेषज्ञों का कहना है कि वैशाली की राजनीति हमेशा जातीय समीकरणों और स्थानीय मुद्दों पर निर्भर करती रही है। इस बार भी वही फैक्टर निर्णायक भूमिका निभा सकते हैं।
जिले की आठ सीटों में से चार पर एनडीए आगे चल रहा है, जबकि तीन सीटों पर महागठबंधन ने पकड़ बनाए रखी है। दो सीटों पर अब भी सस्पेंस है, जहां हर राउंड के साथ बढ़त बदलती नजर आ रही है।
🔹 राजापाकर से JDU प्रत्याशी की जीत लगभग तय
राजनीतिक विश्लेषकों के मुताबिक, राजापाकर (सुरक्षित) सीट से जेडीयू प्रत्याशी महेंद्र राम की जीत लगभग तय मानी जा रही है। यह सीट लंबे समय से एनडीए के खाते में जाती रही है और इस बार भी रुझान उसी ओर इशारा कर रहे हैं।
हालांकि, बाकी सात सीटों पर मुकाबला बेहद करीबी बना हुआ है।
🔹 राघोपुर और पातेपुर में महागठबंधन की मजबूत स्थिति
वरिष्ठ पत्रकारों के अनुसार, राघोपुर और पातेपुर दो ऐसी सीटें हैं जो अब तक महागठबंधन के पक्ष में जाती दिख रही हैं। राघोपुर में पारंपरिक रूप से आरजेडी की पकड़ मजबूत रही है और इस बार भी पार्टी के उम्मीदवार को बढ़त मिलती दिख रही है।
वहीं पातेपुर में स्थानीय मुद्दों और उम्मीदवार की लोकप्रियता ने माहौल महागठबंधन के पक्ष में बना दिया है।
🔹 5 सीटों पर NDA की बढ़त, लेकिन तस्वीर अब भी धुंधली
दूसरे विश्लेषण में कहा गया है कि वैशाली की आठ सीटों में से पांच सीटों पर एनडीए की स्थिति मजबूत है। इनमें वैशाली, ललनपुर, हाजीपुर, लालगंज और महनार शामिल हैं। हालांकि, राघोपुर, महुआ और पातेपुर जैसी सीटों पर महागठबंधन कड़ी चुनौती दे रहा है।
इन सीटों पर जातीय समीकरण, उम्मीदवार की छवि और स्थानीय गुटबाज़ी सब कुछ निर्णायक साबित हो सकता है।
🔹 लालगंज और महुआ में कड़ा मुकाबला
लालगंज और महुआ सीटों पर सबसे दिलचस्प मुकाबला देखने को मिल रहा है।
लालगंज में बीजेपी और आरजेडी उम्मीदवारों के बीच हर राउंड के बाद बढ़त बदल रही है।
वहीं महुआ सीट पर युवा वोटर्स की भूमिका अहम बन सकती है। माना जा रहा है कि अंतिम राउंड तक नतीजे का अनुमान लगाना मुश्किल होगा।
🔹 वैशाली की 8 सीटों का अनुमानित पार्टीवार बंटवारा
| पार्टी | अनुमानित सीटें |
|---|---|
| जेडीयू (JDU) | 2 |
| बीजेपी (BJP) | 1 |
| आरजेडी (RJD) | 3 |
| अन्य / सस्पेंस | 2 |
🔹 दो सीटों पर सस्पेंस बना रहेगा
विश्लेषकों का कहना है कि दो सीटें — हाजीपुर और महनार — पर नतीजे बेहद नजदीकी हो सकते हैं। यहां हर वोट की कीमत है। पोस्टल बैलेट और आखिरी राउंड की गिनती से ही तय होगा कि कौन किस पर भारी पड़ेगा।
अंतिम परिणाम तय करेंगे जातीय समीकरण
वैशाली की राजनीति में यादव, कुर्मी, पासवान और ब्राह्मण मतदाताओं का संतुलन बड़ा फैक्टर है।
इस बार युवाओं और पहली बार वोट करने वालों ने भी रुझान बदले हैं।
राजनीतिक पंडितों का कहना है कि “अगर 2 से 3 हजार वोटों का भी अंतर हुआ, तो जीत-हार की तस्वीर बदल सकती है।”


